ब्यूरो
कासगंज: कांग्रेस ने पुलिस हिरासत में युवक की मौत को बताया हत्या
योगी राज में यूपी अपराध और हत्या में बना नंबर वन...

लखनऊ, सोशल टाइम्स। कासगंज में पुलिस हिरासत में युवक की मौत और शाहजहाँपुर में सीएम योगी आदित्यनाथ से मिलने जा रहीं आशा बहुओं की पुलिस पिटाई की कांग्रेस ने कड़ी निंदा की है। पार्टी ने कासगंज की घटना की हाईकोर्ट के सिटिंग जज से जाँच कराने की माँग करते हुए आरोप लगाया कि योगी आदित्यनाथ के राज में पुलिस अपराधियों जैसा व्यवहार कर रही है। इस घटना ने एक बार फिर यूपी में क़ानून व्यवस्था की पोल खोल दी है। उत्तर प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता विशाल राजपूत लोधी ने कासगंज कोतवाली की पुलिस हिरासत में युवक की मौत को हत्या बताते हुए दोषी पुलिसकर्मियों के ख़िलाफ़ कड़ी कार्रवाई के साथ-साथ मामले की जाँच हाईकोर्ट के सिटिंग जज से कराने की माँग की है। उन्होंने कहा कि पुलिस की यह थ्योरी हास्यास्पद है कि युवक ने हवालात के नल से लटककर फाँसी लगा ली। उन्होंने पूछा कि क्या युवक की लंबाई एक-दो फिट से भी कम थी जो वह नल से लटककर खुदकुशी कर सकता था। वैसे भी कस्टडी में लिये गये किसी भी व्यक्ति की जान की सुरक्षा के लिए सीधे पुलिस ज़िम्मेदार होती है।
कांग्रेस प्रवक्ता ने आरोप लगाया कि सीएम योगी आदित्यनाथ की शह पर पुलिस लगातार नियम कानून का उल्लंघन कर रही है। हाईकोर्ट से लेकर सुप्रीमकोर्ट तक इस संदर्भ में योगी सरकार को फटकार लगा चुके हैं। कई पुलिस अफसर हत्या के आरोप में फरार हैं या जेल में हैं। राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो की रिपोर्ट बताती है कि योगी राज में अपराध और हत्या के मामले में यूपी नंबर वन बन चुका है। राजपूत ने कहा कि कासगंज मामले में पुलिसकर्मियों का निलंबन मौत पर लीपापोती के सिवा कुछ नहीं है। कासगंज घटना की पारदर्शी जांच के लिये हाइकोर्ट के सिटिंग जज की नियुक्ति होनी चाहिए। राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी के नेतृत्व में पूरी कांग्रेस पार्टी आशा बहुओं के साथ खड़ी है। प्रदेश में कांग्रेस सरकार बनने पर आशा बहुओं को दस हजार रुपये प्रतिमाह मानदेय देने की प्रियंका की प्रतिज्ञा के प्रति पार्टी प्रतिबद्ध है।